चंपावत। लोहाघाट के कचहरी वार्ड में कुछ मतदाताओं ने अपने मत का प्रयोग किया ही था कि मतदान के लिए प्रयोग की जाने वाली स्याही में दिक्कत आने लगी। ऐसे में प्रत्याशियों और मतदाताओं ने अपनी आपत्ति जताई, जिससे मतदान को रोकना पड़ा। इसी बीच अपने मत का प्रयोग करने आ रहे मतदाताओं को पोलिंग बूथ के बाहर घंटो इंतजार करना पड़ा।
प्रत्याशियों द्वारा आपत्ति जताई गई कि मतदान में जिस स्याही का प्रयोग किया जा रहा है, वह स्याही मत पत्र में फैल रही है, जिसके कारण मत को अवैध घोषित किया जा सकता है। प्रत्याशियों द्वारा आपत्ति जताने के बाद जोनल मजिस्ट्रेट द्वारा मतदान को रोक दिया गया और उच्च अधिकारियों को सूचना दी गई। सूचना मिलने के बाद लोहाघाट तहसीलदार जगदीश सिंह नेगी मौके पर पहुंचे और मामले की जांच शुरू की।
लोहाघाट तहसीलदार जगदीश सिंह नेगी ने सभी प्रत्याशियों और मतदाताओं को विश्वास दिलाया कि मत को अवैध घोषित नहीं किया जाएगा। इसके बाद सभी की सहमति के बाद मतदान को दोबारा शुरू किया गया, लेकिन मामले में भाजपा प्रत्याशी गोविंद वर्मा द्वारा आपत्ति जताई गई और वो अपनी पत्नी लता वर्मा समेत अन्य प्रत्याशियों के साथ मतदान केंद्र के गेट पर धरने पर बैठ गए।
भाजपा प्रत्याशी गोविंद वर्मा ने आरोप लगाते हुए कहा मत पत्र में पहले से ही स्याही लगी हुई थी, जिससे वहां पर अफरा-तफरी फैल गई और लोग बाहर खड़े-खड़े इंतजार करते रहे। उन्होंने कहा कि जब तक प्रशासन लिखित में इस मामले में स्पष्टीकरण नहीं देगा, वह धरने से नहीं उठेंगे। वहीं आरओ के लिखित आश्वासन के बाद गोविंद वर्मा और अन्य प्रत्याशी माने और फिर मतदान शुरू हुआ। मामले में कांग्रेस प्रत्याशी रंजीत अधिकारी द्वारा भी आपत्ति जताई गई थी।
मालदेवता क्षेत्र के केसर वाला में लोगों ने किया चुनाव बहिष्कार
देहरादून। उत्तराखंड नगर निकाय चुनाव 2025 में एक तरफ जहां राज्य निर्वाचन आयोग लोगों को ज्यादा से ज्यादा वोट करने की अपील कर रहा है, तो वहीं कुछ इलाकों में लोगों ने चुनाव का बहिष्कार किया है। ऐसे ही एक मामला देहरादून नगर निगम के मालदेवता क्षेत्र के केसर वाला में लोगों ने चुनाव का बहिष्कार किया है। केसर वाला क्षेत्र से सामने आया है। यहां पर 400 करीब वोटर हैं, लेकिन उसमें से केवल एक-दो लोगों ने ही मतदान किया है। वो भी ऐसे लोग हैं जिन्होंने मतदान किया है जो कि अब यहां से बाहर रहते हैं। केवल मतदान करने यहां आए थे। स्थानीय लोगों की मानें तो इस इलाके में करीब 400 मतदाता हैं, लेकि न सुबह से केवल एक ही व्यक्ति ने वोट डाला है। केसर वाला क्षेत्र की जनता बेहद नाराज है, इसलिए उन लोगों ने मतदान बहिष्कार का फैसला लिया है।
स्थानीय लोगों के मर्जी के बिना केसर वाला को देहरादून नगर निगम में जोड़ा गया है। नगर निगम के शामिल होने के बाद केसर वाला को कोई सुविधा भी नहीं मिली। क्षेत्र में स्ट्रीट लाइट की लंबे समय से मांग है, लेकिन अब तक कोई नगर निगम का व्यक्ति यहां देखने नहीं आया है। उन्होंने कहा कि वैसे भी यह ग्रामीण क्षेत्र है। इसे नगर निगम में जोड़ने की कोई जरूरत नहीं थी।
इसके अलावा दूसरा विषय केसर वाला क्षेत्र के अंदरूनी इलाके से होकर जाने वाली सड़क है, जो की कैंट क्षेत्र में पड़ती है। स्थानीय निवासी दीपू कोठारी ने बताया कि पिछले चुनाव में जब यहां पर बड़े-बडे़ नेताओं ने चक्कर लगाए तो उन्होंने वादा किया था कि इस सड़क को पक्का बनाया जाएगा, लेकिन अब तक सड़क को पक्का नहीं किया गया।
इसके अलावा केसर वाला क्षेत्र के बीचों-बीच होकर जाने वाला एक नाला भी क्षेत्र की जनता की नाराजगी का एक कारण है। उन्होंने बताया कि यह नाला क्षेत्र की बसावट वाले इलाके के बीच और सड़क से भी गुजरता है, लेकिन आज तक कोई इसकी सुध लेने नहीं आया।
बता दें कि लोगों की गुस्से का कारण पिछले विधानसभा चुनाव के दौरान केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह का वो वादा है, जो उन्होने स्थानीय विधायक उमेश शर्मा काऊ के समर्थन में इस क्षेत्र लोगों से किया था। अमित शाह ने वादा किया था कि इस क्षेत्र के कैंट इलाके में बदहाल सड़क को बनवाया जाएगा, जो आजतक पूरा नहीं हुआ। अब स्थानीय लोगों केंद्रीय मंत्री अमित शाह की उस वीडियों को वायरल कर के भाजपा को अपना वादा याद दिला रहे हैं।
बीजेपी का आरोप, कइयों का वोटर लिस्ट से नाम गायब
देहरादून। उत्तराखंड नगर निकाय चुनाव 2025 में एक तरफ जहां मतदाताओं के नाम वोटर लिस्ट से गायब होने की बात सामने आ रही है। वहीं दूसरी ओर फर्जी वोट डालने के आरोप भी लग रहे हैं। बीजेपी देहरादून महानगर कार्यालय में बनाए गए कंट्रोल रूप में अबतक 100 से ज्यादा शिकायतें आ चुकी हैं। अल्मोड़ा में ढाई सौ फर्जी वोटों पर भाजपा ने शिकायत की है तो वही स्लो वोटिंग से बीजेपी परेशान है।
भाजपा प्रदेश कोषाध्यक्ष पुनीत मित्तल निकाय चुनाव के लिए बीजेपी की ओर से निर्वाचन आयोग के लिए कोऑर्डिनेटर भी हैं। उन्होंने बताया कि उनकी टीम सुबह से ही प्रदेशभर के मतदान केंद्रों पर नजर रख रही है। बीजेपी के कॉल सेंटर में सुबह से ही कॉल आ रही हैं। अभीतक बीजेपी के पास 100 से ज्यादा शिकायतें आ चुकी हैं, जिसमें की कई जगहों पर वोटर लिस्ट में नाम न होने के मामले सामने आए हैं। वहीं मतदान भी काफी स्लो हो रहा है, जो काफी चिंता की बात है।
इसके अलावा बीजेपी के निर्वाचन आयोग कोऑर्डिनेटर समिति के सदस्य और लीगल एडवाइजर राजीव शर्मा ने बताया कि पूरे प्रदेश भर से लोग संपर्क कर रहे हैं, जिसका वह हाथों हाथ निदान भी कर रहे हैं। उन्होंने बताया कि अल्मोड़ा में कुछ ऐसे लोगों के मतदान की शिकायत सामने आई थी, जो कि राज्य के बाहर के लोग हैं। आरोप है कि वहां पर फर्जी वोटर कार्ड पर मतदान हो रहा है। ऐसे लोगों के खिलाफ भी निर्वाचन आयोग को शिकायत की गई है।
राजीव शर्मा ने बताया कि ऐसे तकरीबन ढाई सौ वोटर हैं, जो रहने वाले तो यूपी के हैं, लेकिन उन्हें उत्तराखंड का दिखाया गया है। ऐसे लोगों की शिकायत की गई है और इन लोगों का मतदान रोकने के लिए निर्वाचन से रिक्वेस्ट की गई है। इसके अलावा उन्होंने बताया कि कई जगहों पर मतदान से पहले वोटर आईडी चेक नहीं किये जा रहे हैं, जिसमें कि देहरादून दीपनगर का तारा देवी इंटर कॉलेज एक बूथ है। वहां पर भी संबंधित रिटर्निग ऑफिसर से शिकायत करके प्रक्रिया को सही और पारदर्शी कार्रवाई की गई।
एक ही परिवार के लोगों के नाम अलग-अलग बूथों में
हल्द्वानी। नगर निकाय के लिए तैयार मतदाता सूची में लोग कई तरह के सवाल उठा रहे हैं। सवाल उठने लाजमी भी हैं क्योंकि एक ही परिवार के लोगों के नाम अलग-अलग बूथों में दर्ज किए गए थे। जिससे उन्हें परेशानी का सामना करना पड़ा। जगदंबा नगर निवासी नवीन शर्मा ने बताया कि उनके परिवार ने इससे पूर्व हुए चुनावों में परिवार के मतदाओं ने एक ही बूथ पर मतदान किया। जबकि इस बार परिवार के नाम अलग-अलग बूथों में दर्ज किए गए हैं। बताया कि पिता-माता का नाम एमबी इंटर कॉलेज में और उनका और पत्नी का नाम बीयरशिबा बूथ में था। घंटों लाइन में इंतजार करने के बाद पता चला कि इस बूथ में उनका और उनकी पत्नी का नाम नहीं है। इसके बाद पता चला कि उनका और उनकी पत्नी का नाम बीयरशिबा स्कूल में बनाए बूथ में है। बाद में उन्होंने वहां जाकर मतदान किया।
रुद्रप्रयाग और हरिद्वार में मतदान का प्रतिशत सर्वाधिक रहा
देहरादून। रुद्रप्रयाग और हरिद्वार में मतदान का प्रतिशत सर्वाधिक रहा जहां क्रमश: 62.72 फीसदी और 60.85 फीसदी मतदाताओं ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया ।
भाजपा के महामंत्री, व्यापारी नेता समेत उद्योगपति का नाम वोटर लिस्ट से गायब
हरिद्वार। निकाय चुनाव की मतदाता सूची में नाम शामिल न होने के कारण सिडकुल मैन्युफैक्चरिंग एसोसिएशन के अध्यक्ष हरेंद्र गर्ग सहित कईं प्रतिष्ठित लोग लोग मतदान नहीं कर पाए। व्यापार मंडल के जिला अध्यक्ष संजीव नैयर और भाजपा जिला महामंत्री आशुतोष शर्मा भी मतदाता सूची में नाम न होने के कारण निकाय चुनाव में मतदान ही नहीं कर पाए। सिडकुल मैन्युफैक्चरिंग एसोसिएशन के अध्यक्ष हरेंद्र गर्ग वार्ड नंबर 24 कृष्णा नगर के विष्णु गार्डन में हर बार की तरह इस बार भी वोट डालने पहुंचे। लेकिन उनका वोट मतदाता सूची में से गायब मिला। जिसके चलते वह मतदान ही नहीं कर पाए। ऐसे ही व्यापार मंडल के जिला अध्यक्ष संजीव नैयर वार्ड नंबर 8 गऊघाट में पिछले कईं सालों की भांति इस बार भी अपना वोट डालने पहुंचे थे। जब वह अपनी आईडी दिखाते हुए मतदाता सूची में नाम ढूंढने लगे तो उनका नाम मतदाता सूची में नहीं मिला।
फर्जी वोट डालने का प्रयास करते कई लोग हिरासत में
कांग्रेस प्रत्याशी और उनके समर्थकों के साथ मारपीट
रुड़की। लक्सर नगरपालिका अध्यक्ष पद के लिए कांग्रेस के टिकट से चुनाव लड़ रहे जगदेव सिंह बुधवार देर रात अपने समर्थकों से मिलने लक्सर गांव में पहुंचे थे। आरोप है कि वहां कुछ लोगों ने उन्हें घेर लिया और अभद्रता करते हुए मारपीट करने लगे। उनके समर्थकों ने उनको बचाने की कोशिश की तो उनके साथ भी धक्का मुक्की और मारपीट की गई। इस दौरान किसी ने पुलिस को सूचना दे दी। सूचना पर पुलिस पहुंची, तो आरोपी भाग निकले। इसके बाद पुलिस ने प्रत्याशी को सुरक्षित उनके घर पहुंचाया। मामले में अभी तक पुलिस घटना की लिखित तहरीर मिलने से इंकार किया है।
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